भाटापारा : राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम (आरबीएसके) 18 साल तक के बच्चों और किशोर के लिए वरदान साबित हो रहा है। इन बच्चों की जन्मजात विकृति दूर करने के लिए इस योजना के तहत सरकारी और निजी अस्पतालों में इलाज हो रहा है। 27 नवम्बर को शासकीय प्राथमिक शाला ओटेबंद विकासखंड भाटापारा में आरबीएसके की टीम ने बच्चों का स्वास्थ्य परीक्षण किया। विद्यालय के करीब 150 बच्चों का स्वास्थ परीक्षण किया गया। जिसमें कक्षा पहली से पाँचवी कक्षा के बच्चे और बच्चियां शामिल हुए। आरबीएसके की टीम में एम.ओ. डॉ.शारा राम और एएनएम अंजू साहू शामिल थे। जन्मजात विकृति, किसी प्रकार की कमी, नेत्र रोग, त्वचा रोग, मानसिक या शारीरिक विकलांगता आदि बीमारियां शामिल हैं। बीमारी से ग्रसित बच्चों को रेफर कार्ड देकर इलाज के लिए उच्च चिकित्सा संस्थान में भेजा जाता है। इस मौके पर विद्यालय के शिक्षक नोखेलाल वर्मा और शिक्षक कौशल सेन मौजूद थे।