बूढ़ी मां की आंखों के सामने ट्रेन से कटा बेटा : बेटे की दर्दनाक मौत के बाद मां की आंखें पथराई, लाश के करीब बेबस बैठी रहीं…सुरक्षित ट्रेन से उतर चुके थे मगर फिर जैसे मौत ने बुलाया…

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सोमवार को रायपुर रेलवे स्टेशन में हुए हादसे का अब एक दर्दनाक पहलू सामने आया है। रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर 1 पर जब हादसा हुआ। वहां जान गंवाने वाले युवक की बूढ़ी मां मौजूद थीं। 65 साल की मां अपने बेटे को तड़पता, मरता देखती रह गई। पटरियों पर गिरने की वजह से बेटे का पैर कट गया, वो गंभीर रूप से चोटिल हो चुका था, बेबस मां कुछ न कर सकी। इस तरह अपने बेटे को चंद सेकेंड्स में गंवाने के बाद वो बेसुध हो गईं, मां ने जो मंजर अपनी आंखों से देखा, हादसे के बाद वो दर्द उनकी आंखों में भी नजर आया।

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हादसे का शिकार हुए युवक की मां का नाम मीना झा है। जीआरपी के अफसरों ने बताया कि बेटे की मौत को देखने के बाद उनकी आंखें पथरा चुकी थीं। वह किसी से बात नहीं कर रही थीं, जिस जगह बैठी थी वहीं काफी देर तक बैठी रह गईं। स्टेशन में मौजूद पुलिस और आसपास के लोगों को यह कुछ देर बात पता चला कि हादसे का शिकार हुए व्यक्ति की मां पास ही मौजूद है। कुछ देर बाद वो रोती बिलखती, लोगों की भीड़ के पास आकर भरे गले से बोलीं- वो मेरा बेटा है…। पहुंची और कहा यह मेरा बेटा है।

मां बेटे के शव के करीब बैठी रही
पुलिसकर्मियों ने उन्हें पानी दिया, वो पानी भी नहीं पी रहीं थीं। बेटे के शव के पास नंगे पांव बैठी रहीं, किसी से कोई बात नहीं की। जब शव को अंबेडकर अस्पताल ले जाया गया, एंबुलेंस में बेटे के सिर के पास बैठ गईं। काफी देर बात उनके कुछ स्थानीय रिश्तेदार संपर्क कर रायपुर पहुंचे और वापस बुजुर्ग महिला को अब साथ रायगढ़ लेकर गए। मृतक एसके झा का अंतिम संस्कार भी रायगढ़ में ही किए जाने की खबर है।

सुरक्षित ट्रेन से उतर चुके थे मगर फिर जैसे मौत ने बुलाया :- हादसे से कुछ घंटों के बाद मां ने पुलिस को दिए बयान में हादसे की वजह बताई। जो हैरान करने वाली है। मां मीना झा ने पुलिसकर्मियों को जो जानकारी दी उसके मुताबिक बेटा एसके झा और मां मीना झा दोनों ही ट्रेन से सुरक्षित उतर चुके थे। तब कोई परेशानी नहीं थी। ट्रेन कुछ देर प्लेटफार्म नंबर 1 पर ही खड़ी थी। आस-पास कोई टॉयलेट न दिखने पर एसके झा ट्रेन का टॉयलेट इस्तेमाल करने की सोची। मां को किनारे बैठाकर ट्रेन में दोबारा चढ़ गए। जब उतरने लगे तो ट्रेन चल पड़ी। उतरने की हड़बड़ी में प्लेटफार्म पर पहला पांव रखा और दूसरा फिसलकर ट्रेन और प्लेटफॉर्म के बीच वाले हिस्से में चला गया। चलती ट्रेन ने झा को अपनी चपेट में ले लिया और मौके पर ही उनका पैर कट गया, बुरी तरह से चोटिल होने की वजह से वहीं 29 साल के इस इस इंजीनियर ने दम तोड़ दिया।

 

सौजन्य : दैनिक भास्कर

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